बिहार: शूटर्स और एसटीएफ की टीम ने आदमखोर बाघ को मार गिराया, 9 लोगों की ले चुका था जान

बिहार के पश्चिम चंपारण जिले के बगहा में एक आदमखोर बाघ को शनिवार (08 अक्टूबर, 2022) को मार गिराया गया। शूटर्स और एसटीएफ की टीम सुबह से बाघ को ढूंढने में लगी थी। बड़ी मुश्किल से यह बाघ शूटर्स और एसटीएफ जवानों की पकड़ में आया। नरभक्षी बाघ अब तक 9 लोगों को मौत के घाट उतार चुका था।
बाघ इतना ज्यादा खतरनाक हो गया था कि इसने लोगों की नींदें उड़ा दी थीं। इसकी वजह से लोग घरों से बाहर निकलने में भी डर रहे थे। वहीं, लोगों की सुरक्षा को देखते हुए प्रशासन ने इसे मारने के आदेश जारी किए थे। एक अधिकारी ने बताया कि पिछले 3 दिनों में यह बाघ 4 लोगों को अपना शिकार बना चुका था।
अधिकारी ने बताया कि बाघ को मारने के आदेश प्रक्रिया के अनुसार जारी किए जाते हैं। जब यह स्थापित हो जाता है कि बाघ मानव निवास में रहने का आदी है, तब उसको मारने के आदेश दिए जाते हैं।
बताया जा रहा है कि नरभक्षी बाघ को मारने के लिए 7 सदस्यों की एक टीम को भेजा गया था, जिसमें बगहा, बेतिया और मोतिहारी एसटीएफ व जिला पुलिस के जवानों को शामिल किया गया है। टीम के पास अत्याधुनिक असलह थे।
वीटीआर बिहार के चंपारण के साथ ही नेपाल और उत्तर प्रदेश तक फैले वनक्षेत्र का हिस्सा है। यहां जंगल के आस-पास काफी गांव बसे हुए हैं। इससे सटे यूपी और नेपाल के जंगलों में 50 से ज्यादा बाघ होने का अनुमान है। हालांकि, बाघ आम तौर पर आबादी वाले इलाकों में नहीं जाते हैं, लेकिन माना जा रहा है कि यह बाघ आदमखोर हो गया था। इस वजह से वह लगातार गांवों में जा रहा था।
अधिकारी ने बताया कि किसी जंगली जानवर को मारने का आदेश एक प्रक्रिया के तहत दिया जाता है। अगर कोई जानवर आदमखोर हो जाता है और इंसानों के लिए खतरा बन जाता है तो उसको मारने का आदेश दिया जाता है। माना जा रहा है कि यह बाघ जंगल में शिकार की कमी के कारण ही इंसानों और मवेशियों की तलाश में आबादी की तरफ होगा।